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महान शिक्षाविद महावीर प्रसाद विद्यार्थी के साहित्य से समाज व छात्रों को सीखने की है जरूरत

बीघापुर, उन्नाव। विद्या वारिधि महावीर प्रसाद विद्यार्थी की 103वीं जयंती उनके पैतृक ग्राम टेढ़ा में उनकी प्रतिमा स्थल पर स्मृति संस्थान द्वारा धूमधाम से मनाई गई। इस अवसर पर एक दर्जन से अधिक शिक्षाविदों व शिक्षा व साहित्य जगत से जुड़े मनीषियों ने अपनी उपस्थिति दी। तथा जनपद के वरिष्ठ कवियों ने काव्य समारोह में हिस्सा लिया।
विद्यार्थी जयंती समारोह के मुख्य अतिथि कानपुर नगर के जिला विद्यालय निरीक्षक मुन्नी लाल ने सम्बोधित करते हुए कहा कि विद्यार्थी जी को महान शिक्षाविद बताया तथा उनके साहित्य से समाज व छात्रों को सीखने की जरूरत है। वहीं विशिष्ट अतिथि  शिक्षक विद्यायक राजबहादुर सिंह चंदेल ने कहा कि विद्यार्थी जी के साहित्य को और अधिक संरक्षित करने की जरूरत है, ऐसे महान व्यक्तित्व के नाम पर जनपद में कोई संस्थान, विद्यालय न होना भी चिंता का विषय है। वहीं नरेंद्र भदौरिया ने विद्यार्थी  जी को एक कुशल शिक्षक व  छात्र बताया। अद्यक्षता कर रहे जीवाजी विश्वविद्यालय ग्वालियर के संस्कृत विभाग के पूर्व अध्यक्ष प्रो. जगत बहादुर सिंह ने विद्यार्थी जी के अनेकों संस्मरण सुनाए। उन्होंने कहा कि विद्यार्थी जी एक उद्भभट साहित्यकार लेखक कवि होने के साथ-साथ कुशल शिक्षक, छात्र व प्रशासक भी थे।
जयंती  काव्य समारोह में नरेंद्र आनंद, शिवबालकराम सरोज, संजीव तिवारी, मनोज सरल, अनुज तिवारी, डॉ. मान सिंह, रामकिशोर वर्मा, कुमार प्रदीप, कमलेश शुक्ला, भारत सिंह परिहार, अनिल वर्मा आदि कवियों ने अपनी-अपनी रचनाओं से विद्यार्थी जी को श्रद्धांजलि अर्पित की।
संचालन दिनेश उन्नावी ने किया। आयोजक स्मृति संस्थान के  श्रीराम सिंह, डॉ. राम नरेश, गौरी सिंह, भभूती प्रसाद सिंह, डॉ. प्रवीण सिंह आदि ने आये हुए अतिथियों  का आभार व्यक्त किया। इस अवसर पर हुबलाल इंटर कॉलेज टेढ़ा के मेधावी छात्र छात्राओं को सम्मानित भी किया गया।

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